CHHAPRA DESK – छपरा नगर निगम की दुकानों का धड़ल्ले से खरीद-फरोख्त का कार्य चल रहा है. इन दुकानों को किराए पर लगाकर वसूली का गोरखधंधा भी नगर निगम कर्मियों की मिलीभगत से चल रहा है. जिसका जीता जागता उदाहरण बुधवार की देर शाम छपरा शहर के गुदरी बाजार के नगर निगम मार्केट में देखने को मिला. जहां, नगर निगम प्रशासन और जिला प्रशासन के द्वारा 5 दुकानदारों को दुकान से निकाल बाहर करने के बाद दुकान में सरकारी ताला लगाते हुए सील किया गया.
प्रशासन के द्वारा सील की गई उक्त पांचो दुकाने किसी शंभी साह की बताई गई है. हालांकि वर्षों से पांचों दुकानदार दुकान में रहकर अपना जीविकोपार्जन करते थे. उनका कहना है कि वे लोग उस दुकान का रसीद कटाते हैं और दुकान उन्हीं के नाम से है. जबकि पांचों दुकानों को सील करने पहुंचे नगर निगम के पदाधिकारियों का कहना था कि किसी अन्य व्यक्ति की है और उन लोगों के द्वारा कब्जा किया गया है.
वस्तुस्थिति जो हो, इस घटना से यह तो साफ जाहिर है कि नगर निगम की दुकानों का खरीद बिक्री और नगर निगम की दुकानों को लीज पर लेने के बाद दुकानों पर किराया किराए पर लगाया जाता है. इस दौरान पांचों दुकानदारों के द्वारा विरोध किया गया लेकिन प्रशासन ने जबरन दुकानदारों को दुकान से खींच कर उनके सामान सहित दुकान में सरकारी ताला लगाकर सील कर दिया. क्योंकि, उनके पास दुकानों को सील करने का आदेश था और उनके द्वारा पूर्व में नोटिस दिया गया था.
लेकिन स्थिति तब भयावह हो गई जब विद्यार्थी जेनरल स्टोर संचालक के द्वारा कहा गया कि पेट पर लात नहीं मारिये फांसी पर लटका दीजिए पर दुकान से नहीं निकलूंगा. यह मेरे कमाई का जरिया है. मैं मर जाऊंगा लेकिन दुकान से नहीं निकलूंगा. लेकिन जिला प्रशासन और नगर निगम प्रशासन के पास दुकान को सील करने का आदेश था. जिसका पालन प्रशासन के द्वारा किया गया और सभी दुकानदारों को जबरन दुकान से बाहर कर उसके सामानों को दुकान में ही सील कर दिया गया.